दरअसल, यहां का राजपरिवार अपने आपको भगवान राम के बेटे कुश का वंशज मानते हैं।
आपको जानकर हैरानी होगी कि थाईलैंड का राष्ट्रीय ग्रंथ का नाम 'राम कियेन' है, जो रामायण का ही थाई संस्करण है। यहां का राष्ट्रीय चिह्न गरुड़ है और ये तो आप जानते ही होंगे कि गरुड़ को भगवान विष्णु का वाहन माना जाता है।
वैसे तो पूरी दुनिया में लोग कुछ न कुछ अंधविश्वास को मानते ही हैं, लेकिन यहां के लोगो में भूत-प्रेतों को लेकर एक अजीब किस्म की मान्यता है। यहां कई लोग भूत-प्रेतों से बचने के लिए अपने घर में उनके लिए एक अलग कमरा बनवाते हैं।
इस देश में शाही परिवार का अपमान करना अपराध माना जाता है। चाहे वो इसी देश के निवासी हों या किसी और देश के। यह नियम हर किसी पर लागू होता है। दूसरे देश से आए पर्यटक भी अगर यहां राजपरिवार का अपमान करते हैं या उनकी आलोचना करते हैं तो उन्हें जेल हो सकती है।
दुनिया के कई देशों में शरीर के किसी खास अंग को लेकर अलग-अलग मान्यताएं होती हैं। थाईलैंड में भी कुछ ऐसा ही है। यहां के लोग अपने माथे को शरीर का सबसे पवित्र अंग मानते हैं। यहां किसी दूसरे इंसान के माथे पर हाथ लगाना अच्छा नहीं माना जाता है। लोग ऐसा करने से बचते हैं।
वैसे तो लगभग हर देश किसी न किसी के गुलाम रह चुके हैं, लेकिन थाईलैंड एक ऐसा दक्षिण-पूर्व एशियाई देश है, जो कभी किसी यूरोपीय देश द्वारा गुलाम नहीं बना। हालांकि यूरोपीय शक्तियों के साथ हुई लड़ाई में इसे कुछ प्रदेश लौटाने जरूर पड़े थे, जो आज म्यांमार और मलेशिया का हिस्सा हैं।
थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक का नाम एक खास वजह से गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज है। आपको शायद पता न हो, लेकिन इस शहर का नाम दुनिया में सबसे लंबा है। बैंकॉक तो इसका अंग्रेजी नाम है। असल में इसका पूरा नाम संस्कृत और पालि भाषा से मिलकर बना है। यह नाम इतना बड़ा है कि आप इसे ठीक से बोल भी नहीं पाएंगे। बैंकाक का पूरा नाम है, 'क्रुंग देवमहानगर अमररत्नकोसिन्द्र महिन्द्रायुध्या महातिलकभव नवरत्नराजधानी पुरीरम्य उत्तमराजनिवेशन महास्थान अमरविमान अवतारस्थित्य शक्रदत्तिय विष्णुकर्मप्रसिद्धि'।
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